अजीज के शेर बोले, 7 भाषाओं में किया गया अनुवाद

बीकानेर। अपनी कहानियों, गीतों और शेरों के माध्यम से राजस्थान ही नहीं पूरे भारत में अदबी दुनिया में बीकानेर की विशिष्ट पहचान बनाने वाले सदाहयात शायर अजीज आजाद की रचनाओं का 7 भाषाओं में अनुवाद नागरी भंडार की कला दीर्घा में नगर के रचनाकारों ने सुधि श्रोताओं की साक्षी में किया। प्रज्ञालय संस्थान एवं राजस्थानी युवा लेखक संघ के अवरेख  कार्यक्रम की इस पांचवी मासिक कड़ी में नगर की सांस्कृतिक और साहित्यिक विरासत को स्मरण कराते हुए  वक्ताओं ने अजीज आजाद के शेरों को प्रकृति के बिंबों से गढ़े शब्दों में गूंथी माननीय सम्वेदनाओं के अप्रतिम सजीव चित्र बताया। मुख्य वक़्ता वरिष्ठ कवि आलोचक भवानी शंकर व्यास विनोद  थे। उन्होंने  कहा कि अजीज आजाद ने अपनी कविता, शायरी,कहानियां, गीत आदि रचनाओं के माध्यम से एक ऐसा साहित्यिक संसार रचा जिसके माध्यम से मानवीय सरोकार और सामाजिक विकृतियों पर व्यंग्य था ।  साथ ही मानवीय पीड़ा और उसके हक़-हक़ूक़ को स्वर देने का महत्वपूर्ण काम भी आजाद ने अपनी रचनाओं के माध्यम से किया | विशिष्ट अतिथि शायर व आलोचक  डॉ. मोहम्मद हुसैन ने  अज़ीज़ आज़ाद की रचनाओं, गजलों की किताब उर्दू में साया कर अदबी दुनिया के सामने लाने की जरूरत बताई । 
 अजीज आजाद की रचना का चंचला पाठक द्वारा मगही में किए अनुवाद का वाचन कार्यक्रम संयोजक कमल रंगा  ने किया। जबकि कासिम बीकानेरी ने पुस्तक कोहरे की धूप की कहानी  गुलमर्ग की ढलान का उर्दू में/कहानी चुभन का राजस्थानी में  कथाकार नगेंद्र किराड़ू  ने /   किताब हवा और हवा के बीच और चांद नदी में डूब रहा है से  अंग्रेजी भाषा में कवि बी.डी.हर्ष  /  सत्यनारायण शर्मा ने मराठी /पंजाबी में युवा कवि पुखराज सोलंकी /संस्कृत में कवयित्री इला पारीक ने /गिरिराज पारीक ने राजस्थानी में अनुवाद का वाचन किया। शिवलाल वर्मा ने गीत सुनाया।
 आज़ाद के पुत्र युवा शायर इरशाद अज़ीज़  ने उनके लोकप्रिय और चर्चित गीतों का सस्वर वाचन किया | संस्था की परंपरा के अनुसार मुख्य अतिथि  मधु आचार्य आशावादी एवं संस्था पदाधिकारियों द्वारा शायर अज़ीज़ आज़ाद के परिजन का शॉल श्रीफल माला आदि अर्पित कर सम्मान अर्पित किया गया |  
साक्षी के रूप में बुलाकी शर्मा, डॉ. भंवर भादाणी, मोहन थानवी,राजेंद्र जोशी, शिव शंकर भादाणी, बी.एल. नवीन,इसरार हसन क़ादरी, डॉक्टर सुलक्षणा दत्ता,अरुण दत्ता,डॉक्टर मंजू कच्छावा, डॉक्टर सतीश कच्छावा,अमित गोस्वामी,युवा गायक  इजहार ख़ान सहित शाइर अज़ीज़ आज़ाद साहब के अनेक चहेते और प्रशंसक उपस्थित रहे । स्वागत व्यंग्यकार आत्माराम भाटी ने  किया। 
संचालन  हरीश बी. शर्मा ने किया। आभार युवा शायर माजिद ख़ान ग़ौरी ने ज्ञापित किया |
- मोहन थानवी 





 

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ