खबरों में बीकानेर 🎤 🌐 / twitter, YouTube के साथ-साथ Facebook, Pinterest, LinkedIn और Instagram पर भी
.. 👇👇👇
खबरों में बीकानेर 🎤 🌐 ✍️
👇👇👇
🎤🤜
👇👆👇👆👇☝️
.. 👇👇👇
👇
मायड़ भाषा मान्यता संकल्प यात्रा : लोकतंत्र में लोक की भावना की अवहेलना करने का अधिकार किसी भी सरकार को नहीं है - गांधीवादी विचारक डॉ आचार्य
👇👇
👇👇👇👇👇
......
......
.....
...
.....
. ✍️ *फोटो लॉन* 📷🎬📸☑️*********🙏👍🙏 खबरों में बीकानेर 🎤 🌐 ✍️ ... 👇👇👇👇👇👇👇
मायड़ भाषा मान्यता संकल्प यात्रा : लोकतंत्र में लोक की भावना की अवहेलना करने का अधिकार किसी भी सरकार को नहीं है - गांधीवादी विचारक डॉ आचार्य
बीकानेर/ 22 फरवरी/ मुक्ति संस्था बीकानेर के तत्वावधान में अन्तर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस के उपलक्ष्य में आयोजित तीन दिवसीय कार्यक्रम के दूसरे दिन शुक्रवार को राजस्थानी भाषा मान्यता संकल्प यात्रा शहर के अन्दर पहुँची । राजस्थानी भाषा मान्यता संकल्प यात्रा के मुख्य अतिथि वरिष्ठ साहित्यकार डॉ नन्दकिशोर आचार्य ने कहा कि लोकतंत्र में लोक की भावना की अवहेलना करने का अधिकार किसी भी सरकार को नहीं है। उन्होंने कहा कि सरकार को मातृभाषाओं का सम्मान करते हुए मातृ भाषा को मान्यता दी जानी चाहिए। डॉ आचार्य ने कहा कि बच्चों को प्राथमिक शिक्षा मातृ भाषा में ही दी जाये उन्होंने कहा कि दुनिया का कोई मनोविज्ञान नहीं कहता कि मातृभाषा में शिक्षा देने से बच्चों का विकास नहीं होता । डॉ.आचार्य ने कहा कि राजस्थानी भाषा की मान्यता की माँग पर सरकार को तुरंत निर्णय लेना चाहिए । कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि राजस्थानी भाषा साहित्य एवं संस्कृति अकादमी के पूर्व उपाध्यक्ष और राजस्थानी भाषा के विद्वान शिवराज छंगाणी ने कहा कि राजस्थानी भाषा मान्यता की माँग बरसों पुरानी है सरकार को सकारात्मक रूप से विचार करने की जरूरत है। अध्यक्षता करते हुए वरिष्ठ कांग्रेसी नेता और जिला कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष जर्नादन कल्ला ने कहा कि राजस्थान के लोगों की भावनाओं का सम्मान करते हुए केन्द्र सरकार को तुरंत राजस्थानी भाषा को मान्यता देनी चाहिए।
इस अवसर पर वरिष्ठ साहित्यकार एवं आलोचक डॉ श्रीलाल मोहता ने कहा कि राजस्थानी भाषा किसी भी अन्य भाषाओं से कमजोर नहीं है बल्कि अन्य भाषाओं के मुकाबले व्यापकता लिए हुए है ।
कार्यक्रम के संयोजक रंगा राजस्थानी ने बताया कि शुक्रवार को नत्थूसर गेट के बाहर राजस्थानी भाषा मान्यता संकल्प यात्रा में लोगों ने संकल्प लिया,संकल्प के अपने हस्ताक्षर किए।
आरंभ में स्वागत करते हुए कवि कथाकार एवं मुक्ति संस्था के सचिव राजेन्द्र जोशी ने कहा कि राजस्थानी भाषा मान्यता संकल्प यात्रा मान्यता नहीं मिलने तक संचालित होती रहेगी ।
साहित्यकार बुलाकी शर्मा, हरीश बी.शर्मा , संजय आचार्य "वरुण" डॉ अजय जोशी, चन्द्रशेखर जोशी, एन डी रंगा गौरीशंकर व्यास, डॉ बृजरतन जोशी ने भी अपनी बात कही । पार्षद नरेश जोशी ने कहा कि युवा पीढ़ी में राजस्थानी संस्कृति एवं भाषा के प्रति अनुराग बढ़ता जा रहा है ।
संकल्प यात्रा के समापन पर आभार प्रकट करते हुए साहित्यकार राजाराम स्वर्णकार ने कहा कि शनिवार को प्रधानमंत्री महोदय के नाम आमजन के एक हजार दो सौ से अधिक हस्ताक्षरों वाला ज्ञापन शनिवार को सुबह 10:50 बजे जिला कलक्टर को सौपा जाएगा ।
मायड़ भाषा मान्यता संकल्प यात्रा : लोकतंत्र में लोक की भावना की अवहेलना करने का अधिकार किसी भी सरकार को नहीं है - गांधीवादी विचारक डॉ आचार्य
👇👇
......
......
.....
...
.....
. ✍️ *फोटो लॉन* 📷🎬📸☑️*********🙏👍🙏 खबरों में बीकानेर 🎤 🌐 ✍️ ... 👇👇👇👇👇👇👇
मायड़ भाषा मान्यता संकल्प यात्रा : लोकतंत्र में लोक की भावना की अवहेलना करने का अधिकार किसी भी सरकार को नहीं है - गांधीवादी विचारक डॉ आचार्य
बीकानेर/ 22 फरवरी/ मुक्ति संस्था बीकानेर के तत्वावधान में अन्तर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस के उपलक्ष्य में आयोजित तीन दिवसीय कार्यक्रम के दूसरे दिन शुक्रवार को राजस्थानी भाषा मान्यता संकल्प यात्रा शहर के अन्दर पहुँची । राजस्थानी भाषा मान्यता संकल्प यात्रा के मुख्य अतिथि वरिष्ठ साहित्यकार डॉ नन्दकिशोर आचार्य ने कहा कि लोकतंत्र में लोक की भावना की अवहेलना करने का अधिकार किसी भी सरकार को नहीं है। उन्होंने कहा कि सरकार को मातृभाषाओं का सम्मान करते हुए मातृ भाषा को मान्यता दी जानी चाहिए। डॉ आचार्य ने कहा कि बच्चों को प्राथमिक शिक्षा मातृ भाषा में ही दी जाये उन्होंने कहा कि दुनिया का कोई मनोविज्ञान नहीं कहता कि मातृभाषा में शिक्षा देने से बच्चों का विकास नहीं होता । डॉ.आचार्य ने कहा कि राजस्थानी भाषा की मान्यता की माँग पर सरकार को तुरंत निर्णय लेना चाहिए । कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि राजस्थानी भाषा साहित्य एवं संस्कृति अकादमी के पूर्व उपाध्यक्ष और राजस्थानी भाषा के विद्वान शिवराज छंगाणी ने कहा कि राजस्थानी भाषा मान्यता की माँग बरसों पुरानी है सरकार को सकारात्मक रूप से विचार करने की जरूरत है। अध्यक्षता करते हुए वरिष्ठ कांग्रेसी नेता और जिला कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष जर्नादन कल्ला ने कहा कि राजस्थान के लोगों की भावनाओं का सम्मान करते हुए केन्द्र सरकार को तुरंत राजस्थानी भाषा को मान्यता देनी चाहिए।
इस अवसर पर वरिष्ठ साहित्यकार एवं आलोचक डॉ श्रीलाल मोहता ने कहा कि राजस्थानी भाषा किसी भी अन्य भाषाओं से कमजोर नहीं है बल्कि अन्य भाषाओं के मुकाबले व्यापकता लिए हुए है ।
कार्यक्रम के संयोजक रंगा राजस्थानी ने बताया कि शुक्रवार को नत्थूसर गेट के बाहर राजस्थानी भाषा मान्यता संकल्प यात्रा में लोगों ने संकल्प लिया,संकल्प के अपने हस्ताक्षर किए।
आरंभ में स्वागत करते हुए कवि कथाकार एवं मुक्ति संस्था के सचिव राजेन्द्र जोशी ने कहा कि राजस्थानी भाषा मान्यता संकल्प यात्रा मान्यता नहीं मिलने तक संचालित होती रहेगी ।
साहित्यकार बुलाकी शर्मा, हरीश बी.शर्मा , संजय आचार्य "वरुण" डॉ अजय जोशी, चन्द्रशेखर जोशी, एन डी रंगा गौरीशंकर व्यास, डॉ बृजरतन जोशी ने भी अपनी बात कही । पार्षद नरेश जोशी ने कहा कि युवा पीढ़ी में राजस्थानी संस्कृति एवं भाषा के प्रति अनुराग बढ़ता जा रहा है ।
संकल्प यात्रा के समापन पर आभार प्रकट करते हुए साहित्यकार राजाराम स्वर्णकार ने कहा कि शनिवार को प्रधानमंत्री महोदय के नाम आमजन के एक हजार दो सौ से अधिक हस्ताक्षरों वाला ज्ञापन शनिवार को सुबह 10:50 बजे जिला कलक्टर को सौपा जाएगा ।
write views