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*खबरों में बीकानेर*🎤 🌐
#Traders of Bikaner will also move towards self-sufficiency in the development and fuel of the country by using only #biodiesel in the National #Biofuel Policy: Agarwal
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🙏 मोहन थानवी 🙏
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बीकानेर के व्यापारी भी राष्ट्रीय बायोफ्यूल नीति में बायोडीजल ही उपयोग कर देश के विकास एवं ईंधन में आत्मनिर्भरता की ओर बढेंगे : अग्रवाल
बीकानेर, 03 जनवरी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की राष्ट्रीय बायोफ्यूल नीति के तहत देशभर में अब रेस्टोरेंट, होटल, नमकीन एवं भुजिया उद्योग के साथ साथ ऐसे प्रतिष्ठान जहाँ प्रतिदिन 50 लीटर से ज्यादा खाद्य तेलों का उपयोग होता हो, ऐसे प्रतिष्ठान द्वारा इन तेलों को अधिकतम तीन बार ही उपयोग लाये जाने के पश्चात बचे हुए तेल का उपयोग बायोडीजल बनाने के लिए किया जाएगा। इस बायोफ्यूल नीति के तहत फूड सेफ्टी स्टैंडर्ड ऑथोरिटी ने नोटिफिकेशन देकर सूचना जारी की हैं, जिसमें रीयूज कुकिंग ऑयल पालिसी (आरयूसीओ) के तहत इन तेलों को सिर्फ बायोडीजल उत्पादक को ही बेचा जाएगा। चूंकि बीकानेर शहर के भुजिया का स्वाद विश्व विख्यात हैं, यहाँ नमकीन की छोटी-मोटी कई इकाइयां कार्यरत हैं, फिर भी अधिकांश व्यापारी इस आदेश से अनभिज्ञ हैं। संभवत: किसी बायोडीजल उत्पादक ने जमीनी स्तर पर ध्यान नहीं दिया हो। बीकानेर भुजिया-पापड़ मैन्यूफैक्चर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष वेदप्रकाश अग्रवाल ने व्यापारियों से अपील की है कि सरकार द्वारा नियुक्त बायोडीजल बनाने अथवा अधिकृत तेल संग्राहक को ही तेल दिया जाए। अधिकृत फर्म व्यापारियों को ईंधन में उपयोग में लाने वाले डीजल भी उचित दर पर मुहैया करवाएगी। जिससे पर्यावरण, कार्बन उत्सर्जन के साथ साथ मानव जीवन पर पडऩे वाले प्रतिकूल प्रभाव की रोकथाम हो सकेगी। अग्रवाल ने बताया कि बीकानेर के व्यवसायी भी इस बात के लिए प्रतिबद्धता रखते हैं कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की महत्वाकांक्षी राष्ट्रीय बायोफ्यूल नीति में बायोडीजल ही उपयोग कर देश के विकास एवं ईंधन में आत्मनिर्भरता की ओर बढेंगे। सरकार ने यह निर्णय ईंधन पर आत्मनिर्भरता के साथ साथ कार्बन उत्सर्जन एवं मानव स्वास्थ्य पर पडऩे वाले प्रतिकूल प्रभावों को ध्यान में रखकर लिया हैं। जारी सूचना में बताया गया कि तीन बार उपयोग के पश्चात भी यदि इसी तेल को उपयोग में लाया जाता हैं तो हृदय सम्बंधित, लिवर एवं आंत सम्बंधित कई बीमारियों का खतरा रहता हैं, साथ ही यदि इन तेलों को साबुन बनाने में प्रयुक्त किया जाता हैं तो यह स्कीन केंसर भी हो सकता हैं।
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